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17 अप्रैल 2024
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चुनाव

जिला पंचायत की चाबी निर्दलियों के हाथ में

Posted on: Wed, 05, May 2021 2:43 PM (IST)
जिला पंचायत की चाबी निर्दलियों के हाथ में

लखनऊः उत्तर प्रदेश में सम्पन्न हुये पंचायत चुनाव में निर्दलियों की बल्ले बल्ले है। सपा पहले, बसपा दूसरे और कांग्रेस तीसरे नम्बर पर है। लेकिन जिला पंचायत की कुर्सी का रिमोट इस बार निर्दलियों के हाथों में हैं। वे जिसे चाहेंगे उसे जिला पंचायत अध्यक्ष बनायेंगे। यूपी के अनेक जिलों में ऐसी ही तस्वीरें सामने आई हैं।

जिला पंचायत अध्यक्ष के लिये जोडतोड़ शुरू हो गयी है। वैसे भी ब्लाक प्रमुख और जिला पंचायत अध्यक्ष का पद धन्नासेठों के लिये आरक्षित रहता है। कोई सामान्य प्रृष्ठभूमि का व्यक्ति इन पदों को हासिल करने का सपना नही देख देख सकता। आम जन की ये धारणा है कि ये दोनो पद बाहुबलियों और धन्नासेठों के लिये हैं चुनाव जीतने के बाद से ही सदस्यों की बोली लगनी शुरू हो जाती है। सौदा तय होते ही बाहुबली उन्हे बसों और लग्जरी गाड़ियों में बैठाकर किसी रिजार्ट या धार्मिक या ऐतिहासिक नगरी में भ्रमण पर भेज देता है।

उन्हे ऐन मौके पर वापस लाया जाता है जब उनके पक्ष में वोट करना होता है। ये राजनीतिक कमजोरियां आये दिन बहंस का मुद्दा बनती हैं लेकन किसी पार्टी ने इन नियमों में परिवर्तन के बारे में नही सोचा। ब्लाक प्रमुख और जिला पंचायत अध्यक्षों के चुनाव सीधे जनता से करा दिये जायें तो बहुत सी राजनीति खामियां तत्काल दूर हो जायेंगी, खरीद फरोख्त की राजनीति और आपराधिक गतिविधियों पर लगाम लगेगा। सभी का लक्ष्य जिला पंचायत के जरिये सभी का लक्ष्य 2022 विधानसभा चुनाव जीतना है।

आंकड़ों पर नजर

सबसे कम सीटें जीतने वाली कांग्रेस पार्टी भी उत्साहित है. कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू का कहना है कि जिला पंचायत सदस्य की 270 सीटों पर कांग्रेस ने जीत दर्ज की है. यही नहीं जिला पंचायत की 573 सीटों पर पार्टी दूसरे नंबर पर रही है, जबकि 713 सीटों पर तीसरे स्थान पर रही है। यह संकेत है कि पार्टी थोड़ा सांगइनिक मजबूती और पुख्ता रोडमैप के साथ 2022 में चुनाव मैदान में उतरे तो अच्छे दिन आ सकते हैं। अब तक जारी परिणाम के मुताबिक समाजवादी पार्टी समर्थित 742 उम्मीदवारों ने जीत दर्ज की है।

जबकि बीजेपी समर्थित 679 प्रत्याशी जीते हैं. बसपा समर्थित 320 प्रत्याशी जीतने में कामयाब रहे. वहीं कांग्रेस व अन्य दलों सहित 1309 निर्दलीयों ने जिला पंचायत चुनाव में बाजी मारते हुए कई जिलों में जिला पंचायत अध्यक्ष की कुर्सी की चाबी अपने हाथ में रखी है. समाजवादी पार्टी की जीत पर पार्टी प्रवक्ता डॉ अनुराग भदौरिया ने कहा कि पंचायत चुनाव में समाजवादी पार्टी ने बनारस, प्रयागराज और अयोध्या जैसे जिलों में बीजेपी को धूल चटा दी है. इतना ही नहीं मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गृह जनपद गोरखपुर में समाजवादियों ने बीजेपी के नाक में दम कर रखा है।

कुछ जिलों की स्थिति

बस्ती की 43 जिला पंचायत सीटों के नतीजे आ गए हैं। इसमें सपा 20 पर, 9 पर बीजेपी, बसपा और कांग्रेस ने 1-1 सीट पर जीत हासिल की। हर जिले की तरह निर्दलीय यहां भी भूमिका में है और 10 सीटों पर जीत दर्ज की। संतकबीर नगर की 30 सीटों में से 11 पर सपा, निर्दलीय ने 10, बसपा ने 4 सीटों जबकि बीजेपी मात्र 4 सीटों पर जीत दर्ज की है। वाराणसी की 40 सीटों में से सपा ने 14, बीजेपी ने 8, बसपा ने 5 सीटें जीतीं।

अपना दल -3, आम आदमी पार्टी और सुभासपा को 1-1, जबकि निर्दलीय 3 पर जीते। आजमगढ़ की 84 सीटों में से 45 सपा, 15 बीजेपी, 15 बसपा, 8 पर अन्य और 1 पर कांग्रेस जीती। अवध की श्रावस्ती की 20 जिला पंचायत सीटों में से 8 पर सपा, 4 पर बीजेपी और आप को 3 सीटें। अयोध्या की 40 सीटों में से 24 पर सपा, 2 पर बीजेपी, 5 पर बसपा, 5 पर अन्य। रायबरेली की 51 सीटों में से 27 पर निर्दलीय, सपा-9, बीजेपी-8, कांग्रेस-7 सीटें जीती।


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