छात्र संघ खत्म करने पर छात्रों ने कुलपति को घेरा
प्रयागराज (सूर्य प्रकाश त्रिपाठी) इलाहाबाद विश्वविद्यालय में कल विद्वत परिषद की बैठक में छात्र संघ को समाप्त करके छात्र परिषद को लागू करने का फैसला लिया गया। इसको लेकर छात्रों में विश्वविद्यालय प्रशासन के खिलाफ छात्रों में रोष व्याप्त हो गया। इस फैसले के विरोध में सैकड़ों छात्र छात्रसंघ भवन पर इकट्ठा हुए।
छात्रों का कहना है कि लगातार सैकड़ों वर्षों से चली आ रही छात्र संघ की परंपरा को एकाएक अराजक बताकर खत्म करना छात्रों के वजूद को खत्म करने के बराबर है। छात्र संघ उपाध्यक्ष अखिलेश यादव की अगुवाई में छात्रों ने कुलपति कार्यालय का घेराव कर डीएसडब्ल्यू तथा कुलानुशासक को बंदी बना लिया। छात्रों ने चीफ प्रॉक्टर को ज्ञापन भी सौंपा। छात्रों ने कहा छात्र संघ से कई महान विभूतियां निकली हैं जिन्होने देश का राष्ट्रीय पटल पर नेतृत्व किया है। ऐसे में इलाहाबाद विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा अपनी नाकामियों को छिपाने के लिए छात्र संघ का बैन किया जाना उस इतिहास का भी गला घोटना है जिस पर इलाहाबाद विश्वविद्यालय का प्रत्येक छात्र गर्व करता है।
विश्वविद्यालय प्रशासन को अपने फैसले पर पुनर्विचार करना चाहिए। छात्र नेता अजय सम्राट ने कहा विश्वविद्यालय प्रशासन जिस प्रकार से लगातार तानाशाही पूर्ण निर्णय ले रहा है। छात्र नेता सौरभ सिंह बंटी का कहना है कि छात्र संघ को बंद करने का कुलपति का निर्णय यह बताता है कि वह विश्वविद्यालय के आंतरिक लोकतंत्र पर यकीन नहीं करते। इस दौरान अतेंद्र सिंह, अविनाश विद्यार्थी, शिवम तिवारी, अंकित यादव, विवेक तिवारी, सत्यम कुशवाहा, सत्यम पांडे, दुर्गेश सिंह, जितेंद्र धनराज, आयुष मौर्य, दुर्गेश तिवारी, ऋषभ रावत, चंद्रशेखर अधिकारी, अमित द्विवेदी, विजयकांत यादव, शिव बली यादव समेत तमाम महाविद्यालय के भी छात्र नेता उपस्थित रहे।