स्वास्थ्य सेवाओं की हकीकत जानने घूंघट में पहुंची आईएएस कृति राज, मचा हड़कम्प
यूपी, डेस्कः इमानदार, तेज तर्राक और सत्ता की चापलूसी न करने वाले अफसरों का यूपी में अकाल पड़ गया है। ऐसे में फिरोजाबाद में तैनात एक महिला आईएएस सोशल मीडिया पर छा गई है। इनका नाम कृति राज है और ये एसडीएम फिरोजाबाद की जिम्मेदारी संभाल रही हैं। ये आम अफसरां की तरह नही हैं। इन्हे अवसर मिले और बगैर दबाव के फैसले लें तो इनके कार्य समूचे जनमानस के लिये सबक बन जायेंगे।
आईएएस कृति राज मंगलवार को प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र के बारे मे मिल रही शिकायतों की हकीकत जानने पहुंची। उनके साथ न अर्दली और न ही सरुक्षाकर्मी, एक ग्रामीण बहूं की तरह घूंघट में पहुंची और आम जनता के बीच लाइन में लग गईं। बड़ी संख्या में मरीज इलाज कराने के लिए पहुंचे थे। पर्चा बनवाने के लिए लाइन लगी थी। उन्होने भी लाइन में लगकर पर्चा बनवाया। इस दौरान जब तक लाइन में खड़ी रहीं, अन्य मरीजों से हॉस्पिटल के बारे में जानकारियां लेती रहीं। एक सामान्य महिला जानकर मरीजों ने भी बेधड़क अपनी समस्या बताई। इसके बाद वह डॉक्टर को दिखाने के लिए लाइन में लग गई।
इस बीच किसी ने उनका चेहरा देख लिया और बोल पड़ा- अरे, ये तो एसडीएम सदर कृति राज हैं। इसके बाद वहां अफरा-तफरी मच गई। मौके पर मौजूद स्टाफ के पसीने छूट गए। इसके बाद कृति राज अपने असली रूप में आईं। हर जगह का निरीक्षण किया। इस दौरान जब उन्होंने स्टॉक चेक किया, तो बड़ी मात्रा में एक्सपायरी दवाएं मिलीं। उन्होंने केंद्र के स्वास्थ्य कर्मियों के खिलाफ कार्रवाई के लिए लिखा। इस जमाने में ऐसे अफसर को देखकर लोग अवाक रह गये। सभी की जुबान पर एक ही बात थी, ऐसे दो चार अफसर हर जिले में हो जायें तो कामचोरों और बेइमानों की हेकड़ी निकल जायेगी।
दरअसल एसडीएमकृति राज ने अपनी गाड़ी को अस्पताल से काफी दूर पहले छोड़ दिया। इस दौरान वह एक आम महिला की तरह घूंघट कर अस्पताल पहुंचीं थीं। उनके पास लगातार शिकायत आ रही थीं कि प्रा. स्वा. केन्द्र दीदामई पर मरीजों के साथ गलत व्यवहार किया जा रहा है। दवाएं समय पर नहीं दी जातीं। कुत्ता काटने (रैबीज) के इंजेक्शन को लेकर घंटों मरीजों को इंतजार करना पड़ता है। उन्होने इन शिकायतों को गंभीरता से लिया और इसके बाद 12 मार्च को प्रा. स्वा. केन्द्र निरीक्षण करने पहुंच गईं। इस दौरान स्टॉक रूम में बड़ी मात्रा में एक्सपायरी दवाएं मिलीं।
इन दवाओं को एसडीएम को अपने हाथों से फेंक दिया। एसडीएम कृति राज ने बताया कि शिकायत पर वह दीदामई स्वास्थ्य केंद्र पर पहुंची थीं। उनको महिलाओं ने समस्याएं बताई हैं। डॉक्टर का व्यवहार भी सही नहीं लगा। एक्सपायरी दवाएं स्टॉक में भरी हुई थीं। 50 फीसदी एक्सपायरी दवाओं को आखिर स्टाक से क्यों नहीं हटाया? क्या उनको मरीजों के बीच खपाया जा रहा था? इसकी भी जांच करा रही हैं। सभी बिंदुओं पर शिकायत बनाकर वे प्रशासन और शासन को भेज रही हैं, ताकि दोषियों पर कार्रवाई हो सके। उन्होंने बताया कि अस्पताल के कर्मचारी मरीजों को खड़े करके इंजेक्शन लगा रहे थे।
बेड पर काफी धूल जमा थी। साफ-सफाई भी नहीं थी। डिलीवरी रूम और शौचालय में तक में गंदगी पाई गई। फिलहाल, कार्रवाई के लिए निरीक्षण रिपोर्ट जिलाधिकारी को भेजी जा रही है। फिरोजाबाद की एसडीएम सदर कृति राज झांसी की रहने वाली हैं। झांसी के सेंट फ्रांसिस कॉन्वेंट स्कूल से हाईस्कूल किया फिर जय एकेडमी से 12वीं किया। इसके बाद कंप्यूटर साइंस से बीआईआईटी, झांसी से बीटेक किया। इसके बाद उन्होंने कल्पवृक्ष वेलफेयर फाउंडेशन नाम से एनजीओ शुरू किया। इसी बीच, यूपीएससी की साल 2020 की परीक्षा दी और सफलता हासिल की। इस वक्त पूरे देश में उनकी चर्चा हो रही है।