गो आश्रय की व्यवस्था से नाराज संत डीएम से मिले
संवाददाता, गोंडाः गोआश्रय केंद्रों की व्यवस्था से नाराज संतों ने गुरुवार को डीएम को ज्ञापन सौंपा। संतों का कहना है प्रदेश सरकार छुट्टा पशुओं से किसानों को होने वाले नुकसान से बचाने व आये दिन इन पशुओं की वजह से सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिये करोड़ों रुपयों का बजट पानी की तरह बहा रही है लेकिन परिणाम आज भी शून्य है।
न तो किसानों को इन पशुओं से निजात मिल पाई है और न ही सड़कों पर इनकी तादात में कोई कमी पाई जा रही है। नजीर के तौर मुज़ेहना ब्लॉक के ग्राम रुद्रगढ़ नौसी में बनी प्रदेश की प्रथम मॉडल गौ आश्रय केंद्र में सैकड़ों गायों और गौ वंशों की मौत को ले कर इससे पूर्व में भी स्थानीय लोगों के साथ कुछ सन्तों ने आक्रोश प्रकट करते हुए जांच और जिम्मेदारी तय कर कार्यवाही की मांग की थी लेकिन कुछ नही हुआ। केंद्रों में कम करने वाले श्रमिकों का पारिश्रमिक नियमित न होना भी आश्रय केंद्रों की अव्यवस्था की वजह बनती रही है। सोनबरसा पोखरा स्थिति ज्वाला देवी मन्दिर के संरक्षक महंत छोटे बाबा, सिंघवापुर मेहनवन गौ सेवा धाम हॉस्पिटल संचालन सन्तोषी दास महराज, दिनेश कुमार तिवारी प्रदीप शुक्ला सहित दर्जनों लोगों ने जिलाधिकारी को ज्ञापन सौंप कर 15 दिनों के भीतर सभी आश्रय केंद्रों का सुचारू संचालन सुनिश्चित कराने के साथ यातायात मार्गों को पशुओं से मुक्त कराये जाने की मांग की है।