आर- पार की लड़ाई के मूड में हैं इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के स्टूडेंट्स
इलाहाबाद: इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में होने वाली प्रवेश परीक्षा में ऑनलाइन और ऑफलाइन के विकल्प को लेकर छिड़ी लड़ाई बंद होने का नाम नहीं ले रही है। इसे लेकर स्टूडेंट्स आर- पार की लड़ाई के मूड में हैं। कुलपति के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए स्टूडेंट्स ने अनशन पर बैठने का ऐलान कर दिया है। स्टूडेंट्स को छात्रसंघ पदाधिकारियों का भी खुल कर साथ मिल रहा है। इलाहाबाद विश्वविद्यालय छात्रसंघ के पदाधिकारियों ने साफ कर दिया कि वे कुलपति कार्यालय पर क्रमिक अनशन शुरू करेंगे। साथ ही मांगे नहीं माने जाने पर कुलपति को गंभीर परिणाम भुगतने की चेतावनी भी दी गई है।
ऑफलाइन परीक्षा को लेकर विश्वविद्यालय प्रशासन की तरफ से यह दलील दी जा रही है कि इसके लिए यूजीसी से निर्देश मिला है जबकि छात्र संघ अध्यक्ष ऋचा सिंह का कहना है कि विश्वविद्यालय प्रशासन कहता है कि ऑनलाइन प्रवेश परीक्षा का निर्देश यूजीसी से मिला है जो कि गलत है। यूजीसी से ऐसा कोई निर्देश जारी नहीं हुआ। यदि ऐसा होता तो जामिया, बीएचयू, जेएनयू सहित किसी विश्वविद्यालय में ऑनलाइन प्रवेश परीक्षा नहीं होती। प्रोफेसर वी.पी.सिंह को हटाने की भी निंदा की।
ऋचा सिंह का कहना है कि वीसी प्रो.रतनलाल हांगलू ओएसडी के माध्यम से सारे छात्रसंघ पदाधिकारियों को बर्खास्त करने की धमकी दिला रहे हैं, जिसे किसी कीमत पर बर्दास्त नहीं किया जाएगा। छात्रसंघ उपाध्यक्ष विक्रांत सिंह ने कहा कि कुलपति तानाशाही रवैया अपना रहे हैं, जो ठीक नहीं है। छात्र संघर्ष के जरिए अपनी मांग पूरी कराएंगे।